गोलीबार बस्ती के आंदोलन की एक नेता प्रेरणा गायकवाड़ ने गोरखपुर के मज़दूरों के नाम अपने संदेश में कहा है, ”हम तो अपनी लड़ाई जीत गए हैं, अब आपको अपनी लड़ाई जारी रखनी है। आप लड़ाई जारी रखें हम आपके साथ हैं।”
मायावती सरकार के मज़दूर विरोधी रवैये की देशभर में कड़ी निन्दा
संयुक्त मजदूर अधिकार संघर्ष मोर्चा ने पिछले दो दिनों से गोरखपुर के दोनों औद्योगिक क्षेत्रों, कार्यालयों और शहर के प्रमुख स्थानों पर नुक्कड़ सभाओं तथा रिहायशी इलाकों में जनसम्पर्क के जरिए उद्योगपतियों तथा प्रशासन की मिलीभगत का भंडाफोड़ करने और मजदूरों की मांगों के पक्ष में जनसमर्थन जुटाने का अभियान और तेज कर दिया है। अभियान के दौरान बड़े पैमाने पर बांटे गए पर्चे में कहा गया है कि पिछले तीन सप्ताह से हम मज़दूरों के साथ जो कुछ हो रहा है उसने गोरखपुर के प्रशासन का मज़दूर-विरोधी चेहरा एकदम नंगा कर दिया है और देश के लोकतंत्र की असली तस्वीर भी हमारे सामने उजागर कर दी है। पिछली तीन मई को मज़दूरों पर गोलियाँ बरसाये जाने के बाद से ही मज़दूर अपने हक और इंसाफ की माँग के लिए धीरज और शान्ति के साथ सत्याग्रह कर रहे हैं, लेकिन न्याय के बजाय उन्हें मिली हैं गालियाँ, लाठियाँ और जेल। पुलिस-प्रशासन सारे कानूनों को जूते की नोक पर रखकर उनकी सेवा में लगा हुआ है। अपराधी सीना ताने घूम रहे हैं और कानून लागू करने की माँग करने वाले जेल में ठूँस दिये गये हैं। मोर्चा ने मजदूरों-कर्मचारियों, छात्रों-नौजवानों, बुध्दिजीवियों तथा आम नागरिकों से सहयोग की अपील की है।